Swatantra Veer Savarkar :”स्वातंत्र्यवीर सावरकर”, रणदीप हुड्डा (Randeep Hooda) द्वारा अभिनय , निर्देशित और लिखित, उन ऐतिहासिक घटनाओं पर प्रकाश डालती है जो जानबूझकर दबा दी गईं। फिल्म भारतीय स्वतंत्रता सेनानी विनायक दामोदर सावरकर के जीवन और क्रांतिकारी विचारों को दर्शाती है। रणदीप हुड्डा सावरकर की भूमिका निभाते हैं। फिल्म दर्शाती है कि यदि सावरकर की योजना सफल होती, तो भारत को ब्रिटिश शासन से जल्दी स्वतंत्रता मिल जाती।
यह फिल्म सावरकर के क्रांतिकारी संगठन, उनकी रणनीति और अंग्रेजों से लड़ने के उनके दृढ़ संकल्प पर केंद्रित है। फिल्म यह भी बताती है कि कैसे सावरकर को उनके विचारों और कार्यों के लिए गलत तरीके से चित्रित किया गया था।
“स्वातंत्र्यवीर सावरकर” एक महत्वपूर्ण फिल्म है जो भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में सावरकर के योगदान को उजागर करती है और इतिहास के एक अनदेखे अध्याय को दर्शाती है।
पोज़िटिव
वीर सावरकर की कहानी पर रोशनी डालना (Highlighting Veer Savarkar’s story): फिल्म वीर सावरकर के जीवन और उनके स्वतंत्रता संग्राम में योगदान को दर्शाती है, जो एक सराहनीय पहलू है. दर्शकों को उनके क्रांतिकारी विचारों और संघर्षों के बारे में जानकारी मिलती है.
रणदीप हुड्डा का एक्टिंग (Randeep Hooda’s acting): रणदीप हुड्डा को वीर सावरकर के किरदार में उनकी दमदार एक्टिंग के लिए काफी सराहना मिली है. उन्होंने सावरकर के जज्बे और दृढ़ता को पर्दे पर जीवंत करने की कोशिश की है.
नेगेटिव
कहानी सुनाने में कमियां (Storytelling flaws): कुछ आलोचकों का मानना है कि फिल्म की कहानी को पर्दे पर बेहतर तरीके से बताया जा सकता था. घटनाक्रम (Katha narration) में कमी बताई गई है, खासकर फिल्म की गति (pacing) को लेकर भी कुछ सवाल है की फिल्म बहुत लंबी लगती है.
इतिहासिक सटीकता पर सवाल (Questions on historical accuracy): फिल्म की कुछ घटनाओं और संवादों की ऐतिहासिक सटीकता पर सवाल उठाए जा रहे हैं.
फिल्म देखे या नहीं
यदि आप वीर सावरकर के जीवन और उनके स्वतंत्रता संग्राम में योगदान के बारे में जानने में रुचि रखते हैं, तो यह फिल्म आपके लिए एक अच्छी शुरुआत हो सकती है। हालांकि, फिल्म निर्माण में कुछ कमियां भी हैं, जिनके कारण यह एक औसत दर्जे का अनुभव प्रदान करती है।
फिल्म देखने का फैसला करने से पहले, आप इन समीक्षाओं को ध्यान में रख सकते हैं।